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लचर व्यवस्था : शिकायतों पर न जांच,न प्रतिवेदन,न कार्यवाही प्रशासनिक मौन से भ्रष्टाचारियों के हौसले बुलंद  Featured

 खैरागढ़. 15 अक्टूबर को पालिका सीएमओ को जाँच के लिए निर्देशित किए जाने के 11 दिन बाद भी पालिका में जिम खरीदी के मामले में न ही जाँच की गई है और न ही अब तक जाँच प्रतिवेदन सौंपा गया है। इसी तरह से नगरीय प्रशासन विभाग की अवर सचिव डॉ.ऋतू वर्मा ने भी जिम खरीदी में हुए भ्रष्टाचार के मामले में तत्कालीन पालिका अध्यक्ष शैलेन्द्र वर्मा से जवाब तलब किया था। लेकिन वह कार्यवाही भी लटकती नज़र आ रही है। नगरपालिका में सांसद प्रतिनिधि राकेश गुप्ता भी अध्यक्षनिधि व पार्षद निधि में पालिका में कुर्सी खरीदी के नाम पर हुए व्यापक भ्रष्टाचार की शिकायत भी कलेक्टर कार्यालय में कर चुके हैं। 8 माह से उक्त मामले में भी किसी प्रकार की न ही कोई जांच की गई है। और न ही कोई प्रतिवेदन दिया गया है। जिसकी वजह से पालिका में भ्रष्टाचार का बोलबाला है। और भ्रष्ट अधिकारियों और कर्मचारियों के साथ ही भ्रष्ट जनप्रतिनिधियों हौसले बुलंद हैं। सूत्रों की माने तो पालिका के इन मामलों पर पर्दा डालने के लिए भी कुछ नेताओं और तत्कालीन अवधि में पालिका में पदस्थ दोषी अधिकारियों के बीच लाखों का लेन देन बताया जा रहा है।


विधायक प्रतिनिधि मनराखन ने की अध्यक्ष की बर्खास्तगी की मांग 


विधायक प्रतिनिधि मनराखन देवांगन ने गत 23 सितंबर को पालिका में भ्रष्टाचार के मामलों में कलेक्टर से शिकायत करते हुए पूर्व नगरपालिका अध्यक्ष शैलेन्द्र वर्मा पर छगनपा अधिनियम 1961 की धारा 35 ( क ) के तहत पार्षद पद से बर्खास्तगी की मांग की है। मामले तत्कालीन सीएमओ कुलदीप झा पहले ही निलंबित हैं। लेकिन पालिका अध्यक्ष पर कार्यवाही नहीं की गई। जबकि चेक पर सीएमओ के साथ अध्यक्ष के हस्ताक्षर होते हैं। 


पालिका के इन मामलों में करोड़ों का घालमेल 

 

  • वितीय वर्ष 2019 से लेकर 2023 - 24 तक आरसीसी कुर्सी खरीदी के नाम पर 81 लाख से अधिक का हेरफेर 
  • वितीय वर्ष 2019 से लेकर 2023 - 24 तक अध्यक्ष निधि व पार्षद निधि से हर साल जिम सामग्री के नाम पर फ़र्ज़ी बिलों के सहारे लाखों की गड़बड़ी
  • कोविड काल में दवाई व मेडिकल इक्विपमेंट खरीदी के लिए मिले 35 लाख में से 30 लाख रुपयों का सीधा गबन
  • पंप मरम्मत और वाटर सप्लाई इक्विपमेंट खरीदी के नाम पर पालिका निधि में सीधी गड़बड़ी 


तंत्र कर रहा लिखित शिकायत का इंतजार 


पूरे मामले में चिंताजनक पहलु है कि जिस प्रशासनिक तंत्र को भ्रष्टाचार के मामलों का स्वतः संज्ञान लेकर जांच कर कार्यवाही करना चाहिए। वह लिखित शिकायत का इंतज़ार कर रहा है।


लिखित शिकायत पर जांच होगी और कार्यवाही भी - प्रेम कुमार पटेल,अपर कलेक्टर,केसीजी 


मामले में अपर कलेक्टर प्रेम कुमार पटेल पहले ही कह चुके हैं कि भ्रष्टाचार के मामलों की लिखित शिकायत पर जांच कर कार्यवाही की जाएगी। हालाँकि पूर्व के मामलों पर ही अभी तक जांच पूरी नहीं हो पाई है।

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Last modified on Saturday, 26 October 2024 13:45

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