ख़ैरागढ़ : जन सुविधाओं को लेकर शासन - प्रशासन तंत्र का रवैया कितना लचर है। उसका अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि अक्टूबर 2020 में स्वीकृत पिपरिया से खमतराई पुल निर्माण को लेकर सेतु निगम में अभी निविदा कार्य प्रक्रिया धीन है। जबकि कार्य स्वीकृति दिनाँक से कार्य 12 माह में पूर्ण हो जाना था। लेकिन जिस कार्य की निविदा प्रक्रिया ही पूर्ण नहीं हुई है। मतलब स्वीकृति तिथि से 3 साल बीत जाने के बावजूद निविदा प्रक्रिया का कार्य ही नहीं हुआ है।
पुल निर्माण का बहाना लेकर नही बनाई सड़क
एक तरफ तो पीडब्लूडी ने सेतु निगम के सड़क कार्य के बिना ही करोड़ो की सड़क बाईपास के रूप में बना दी। तो दूसरी ओर पुल निर्माण न होने का हवाला देकर पिपरिया - खमतराई सड़क का काम ही शुरू नहीं किया।एक विभाग के दो कार्यों में प्रतिबद्धता की कमी साफ तौर पर दिखाई दे रही है।
बाईपास में भी नहीं हुआ पुल निर्माण
पिपरिया - सोनेसरार बाइपास का भी यही हाल है। उक्त सड़क में एकमात्र पुल निर्माण का काम ही बाकी है। जिसकी वजह से सड़क में आवाजाही शुरू नहीं हो पा रही है। विभागीय लापरवाही का आलम ऐसा है कि सड़क बन जाने के बावजूद पुल का निर्माण नहीं हो पाया है। उक्त सड़क में पुल का काम कछुआ गति से हो रहा है।
निविदा प्रक्रियाधीन है - टी.एन.संतोष,एसडीओ,सेतु निगम
मामले में सेतु निगम में एसडीओ,टी.एन संतोष,एसडीओ आरआरवीटू योजना के अन्तर्गत है निविदा कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। खैरागढ़ ऑफिस आऊँगा तो मैं आपको पूरी जानकारी दे दूँगा।