ख़ैरागढ़ 00 जनता कांग्रेस ( जोगी ) के नरेंद्र सोनी ने कहा कि किसी भी सरकार का उद्देश्य छात्र राजनीति को बढ़ावा देना चाहिए ना कि छात्र राजनीति का गला घोटने का क्योंकि भारत देश आज युवाओं का देश है। पूर्व विधानसभा प्रत्याशी व प्रथम छात्रसंघ अध्यक्ष रहे नरेंद्र सोनी ने कहा कि विभिन्न राजनीतिक दलों मैं छात्र हित के लिए छात्र संगठन इकाई कार्यरत है,छत्तीसगढ़ के समस्त विश्वविद्यालय में छात्र-छात्राओं की प्रवेश प्रक्रिया लगभग पूरी हो चुकी है। अभी तक सभी विश्वविद्यालय के समस्त महाविद्यालयों में छात्र संघ का चुनाव मेरिट के आधार पर किया जाता रहा है। जिसके कारण मनोनीत छात्र संघ पदाधिकारी सक्रिय ढंग से छात्र हित में कार्य नहीं कर पाते है। सोनी ने कहा अधिकांश सरकारों ने अपने विश्वविद्यालयों में महाविद्यालयों में छात्रसंघ का चुनाव सीधे और प्रत्यक्ष ढंग से बंद कर दिया है इसका कारण सरकार विश्वविद्यालय प्रशासन और शिक्षाविदों का मानना है कि छात्र संघ के चुनाव में हिंसा होती है जिससे महाविद्यालय परिसर का वातावरण दूषित होने के साथ अनुशासन बिगड़ता है।
नहीं बनाएं राजनीति का अड्डा
सोनी ने कहा कि शिक्षण संस्थान पढ़ाई के लिए होता है इसे राजनीति का अड्डा नहीं बनाया जा सकता और आप सभी जानते हैं कि चुनावी हिंसा कहां होता है ग्राम पंचायत स्थानीय निकाय विधानसभा से लेकर लोकसभा चुनाव क्या शांति से निपटता है। सोनी ने कहा कि हिंसा और अनुशासन के नाम पर इन संस्थानों के चुनाव पर बंदिश लगाया जाना क्या उचित है। जब 18 वर्ष का छात्र अपने स्थानीय निकाय से लेकर लोकसभा तक का प्रतिनिधि चुन सकता है। तो अपने छात्र संघ परिषद के चुनाव से क्यों वंचित रखा जा रहा है।
होती है नए नेता की पौध तैयार
सोनी ने कहा कि छात्र राजनीति ऐसा क्षेत्र है,जहां से नए राजनेता की नई पौध तैयार होती है लेकिन बीते कई वर्षों से स्वच्छ ईमानदार छवि वाले नेता तैयार नहीं हो पा रहे हैं जनता कांग्रेस राज्यपाल और मुख्यमंत्री से मांग व अनुरोध करती है कि राज्य के समस्त विश्वविद्यालय एवं संबद्ध महाविद्यालयों में छात्र संघ का चुनाव सीधा व प्रत्यक्ष ढंग से होना चाहिए ताकि समस्त युवा जगत को नेतृत्व का अवसर मिल सके क्योंकि अधिकांश युवा पक्षपात रहित और भ्रष्टाचार मुक्त भारत चाहते हैं। जिसके जरिए लोगों को अच्छी शिक्षा स्वास्थ्य सुरक्षा पारदर्शी प्रशासन और बेहतर रोजगार मुहैया कराया जा सके।